ज्योतिष शास्त्रउस प्रभाव का अध्ययन है जो दूर की ब्रह्मांडीय वस्तुओं, आमतौर पर सितारों और ग्रहों का मानव जीवन पर पड़ता है। लोगों के जन्म के समय सूर्य, तारे, चंद्रमा और ग्रहों की स्थिति (उनके गर्भाधान नहीं) को उनके व्यक्तित्व को आकार देने, उनके रोमांटिक रिश्तों को प्रभावित करने और उनके आर्थिक भाग्य की भविष्यवाणी करने के लिए किया जाता है। ज्योतिष के बारे में ज्यादातर लोग जो जानते हैं, वह उनका “संकेत” है, जो राशि चक्र के 12 नक्षत्रों में से एक को दर्शाता है। यह सूर्य-संकेत ज्योतिष का एक रूप है, जो कि ज्योतिष है जिस पर अखबार की कुंडली आधारित है। यह शायद सबसे सरल रूप है, क्योंकि किसी के जन्मदिन की तारीख से ज्यादा कुछ भी सूर्य-राशिफल की आवश्यकता नहीं है।
ज्योतिषाचार्य कृष्णा त्रिपाठी जीजातकों के जीवन की घटनाओं और स्वास्थ्य, परिवार, वित्त और विवाह ज्योतिष पर सटीक भविष्यवाणियां करने के बारे में सबसे कठिन सवालों का जवाब दे रहे हैं। उनकी विशेषज्ञता न केवल कुंडली का अध्ययन करने में, बल्कि समस्या क्षेत्रों पर काम करने के अपने अनूठे तरीके से आपको बेहतर और खुशहाल जीवनशैली देने में निहित है। उनके द्वारा किये गए अभी तक सभी अनुष्ठान सफल हुए अपितु उनके जजमानो का उनके प्रति विश्वास और मजबूत होता जा रहा है।
उन्होंने सम्पूर्णानंद विश्वविद्यालय के ज्योतिष विभागाध्यक्ष ज्योतिषाचार्य श्री इंदु शेखर जी और ज्योतिषाचार्य श्री हीरालाल जी के सानिध्य में रहकर वाराणसी (काशी) में ज्योतिष शास्त्र, वास्तु शास्त्र, वेद एवं कर्मकांड का अध्यन किया और उनके ही दिखाए मार्ग पर चल कर जनमानस का कल्याण कर रहे है।। आप के भविष्य में होने वाली सभी घटनाओ के बारे में, कुंडली के माध्यम से अध्ययन करके सटीक उपाय बताते है अपितु उन समस्याओ को नग या अनुष्ठान क माध्यम से निवारण भी करते है। इस प्रकार, यह प्राचीन और आधुनिक ज्योतिष-ज्ञान और ज्योतिष तकनीकों के शक्तिशाली संयोजन के तालमेल से जनमानस का कल्याण कर रहे है |
ज्योतिषाचार्य कृष्णा त्रिपाठी जी जातक के जीवन के 12 पहलुओं पर आधारित आपके ग्रह चाल पर काम करते हैं और सटीक उपचार प्रदान करने के लिए आपके जीवन चक्र में दोषों का पता लगाते हैं।